Thursday, December 22, 2016

"इस्लाम पूरी दुनिया के लिए खतरा है, मुसलमान नहीं": अयान हिरसी अली

■ आज अयान हिरसी अली को सुन रहा था। उनका मानना है कि जबतक इस्लाम में सुधार नहीं होता तबतक इस्लाम पूरी दुनिया के लिए खतरा है, मुसलमान नहीं। मुसलमानों में विविधता है, इस्लाम में नहीं। चाहे कोई कुरान पढ़ा हो या नहीं,उसे बचपन से यही सिखाया जाता है कि कुरान के शब्द अंतिम हैं, उसमें लिखी हर बात हर दौर के लिए सही है और उनपर विमर्श नहीं किया जा सकता। ऐसे में जैसे ही कोई मौलाना क़ुरान से उद्धरण देकर अपनी बात कहता है, एक सामान्य मुसलमान उस पर झट से विश्वास कर लेता है। आईएसआईएस , बोकोहराम, तालिबान, अलकायदा, लश्करे तोइबा आदि संगठन इसी वजह से अपनी पैठ बनाने में सफल हो जाते हैं और उनके भीषण हिंसक कृत्यों पर भी लोगों की सहमति की मुहर लग जाती है। हिंसक कृत्य को सही या हलाल साबित करने के लिए कुरान से कोई सूरा उद्धृत किया गया होता है।
■ ऐसे अनेक मुसलमान हैं जिनसे अगर आप कहें कि कुरान में काफिरों के लिए घृणात्मक शब्दों से लेकर उनकी हत्या तक को हलाल ठहराया गया है तो वे साफ इनकार कर देंगे: नहीं, ऐसा हो ही नहीं सकता। जाहिर है उन्होंने कुरान नहीं पढ़ी है। लेकिन यही बात अगर कोई मौलाना कहे तो इसका मतलब यह हुआ कि वह अलतकिया कर रहा है। अलतकिया मतलब हलाल झूठ।
9।10

1 Comments:

Blogger नारी शक्ति said...

विचारणीय 🙏

April 26, 2020 at 1:50 AM  

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